Masturabation Cause : भारत वैसे तो तेजी से आगे बढ़ रहा है। लेकिन आज भी कुछ विषयों पर लोग चर्चा करने से बचते हैं। जबकि ये विषय ऐसे हैं जिनकी जानकारी देश के हर इंसान के पास होनी चाहिए। चलिए आज हम उन्ही में से एक विषय यानी हस्तमैथुन के बारे में चर्चा करते हैं। Bharat Viral News शिक्षा के उद्देश्य से आपको हस्तमैथुन की कुछ अहम जानकारी देने जा रहा है।
हस्तमैथुन जिसे English में Masturbation कहा जाता है, एक ऐसी प्रक्रिया है जिसमें व्यक्ति अपने जननांगों को खुद उत्तेजित करता है ताकि उसे यौन संतुष्टि या pleasure मिले। ये व्यवहार पुरुषों और महिलाओं दोनों में पाया जाता है और वैज्ञानिक रूप से इसे मानव की natural sexual activity माना गया है।
डॉक्टरों के अनुसार, ये शरीर की एक जैविक प्रतिक्रिया है जो तनाव को कम करती है और शरीर में endorphins जैसे “feel-good hormones” रिलीज करती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने भी हस्तमैथुन को किसी बीमारी या विकार के रूप में वर्गीकृत नहीं किया है। बल्कि इसे मानव शरीर की सामान्य शारीरिक क्रिया के रूप में देखा गया है, जब तक कि ये सीमित मात्रा में किया जाए।
क्या पुरुष हस्तमैथुन स्वस्थ है? (Is Masturbation Healthy for Men?)
कई लोग ये सवाल पूछते हैं कि क्या पुरुषों के लिए हस्तमैथुन स्वस्थ होता है? इसका जवाब है — “हाँ, लेकिन सीमित मात्रा में।” वैज्ञानिक दृष्टिकोण से देखें तो पुरुषों में हस्तमैथुन कई बार prostate health को बनाए रखने में मदद करता है। क्योंकि इससे शुक्राणु बाहर निकलते रहते हैं और शरीर में pressure या सूजन की स्थिति नहीं बनती।
साथ ही, हस्तमैथुन से तनाव कम होता है, नींद बेहतर आती है और आत्म-नियंत्रण (self-awareness) की समझ विकसित होती है। हालांकि अगर इसे बहुत ज़्यादा किया जाए तो ये शरीर की ऊर्जा, ध्यान और मानसिक स्थिरता पर असर डाल सकता है।
हस्तमैथुन क्यों ज़रूरी है? (Why is Masturbation Important?)
हस्तमैथुन का एक बड़ा फायदा ये है कि ये व्यक्ति को अपने शरीर को बेहतर तरीके से समझने में मदद करता है। ये sexual self-awareness बढ़ाता है और व्यक्ति को ये जानने में मदद करता है कि उसके शरीर की sexual response कैसे काम करती है। कुछ वैज्ञानिक अध्ययनों में पाया गया है कि सीमित हस्तमैथुन से तनाव, anxiety और depression में राहत मिलती है।
क्योंकि ये दिमाग में dopamine और serotonin जैसे chemical रिलीज करता है, जो mood को अच्छा बनाते हैं। कई डॉक्टर कहते हैं कि यदि कोई व्यक्ति यह activity अपने नियंत्रण में रखता है तो ये उसकी sexual health के लिए फायदेमंद हो सकती है। हालांकि, अगर इसे एक addiction या habit बना लिया जाए तो यह शरीर और मन दोनों पर नकारात्मक असर डाल सकती है।
ज्यादा हस्तमैथुन के नुकसान (Side Effects of Over Masturbation)
हर चीज की तरह हस्तमैथुन भी अगर ज़रूरत से ज़्यादा किया जाए तो नुकसानदायक हो सकता है।
ज्यादा हस्तमैथुन से शरीर में थकान, ध्यान की कमी और sexual sensitivity में कमी आ सकती है।
कई बार लोग बताते हैं कि उन्हें guilt या शर्म महसूस होती है, जिससे मानसिक तनाव बढ़ सकता है।
ज्यादा हस्तमैथुन करने से
- नींद की कमी
- ऊर्जा में गिरावट
- आँखों के नीचे काले घेरे
- और ध्यान केंद्रित करने में समस्या
जैसी परेशानियाँ हो सकती हैं।
इन सबका असर व्यक्ति की physical appearance पर भी दिखाई देने लगता है।
कई बार अत्यधिक हस्तमैथुन से testosterone का level थोड़ा अस्थिर हो सकता है, जिससे शरीर में कमजोरी महसूस होती है। हालांकि ये प्रभाव permanent नहीं होता, अगर व्यक्ति इस habit को नियंत्रित कर ले।
What is the Effect of Masturbation on Physical Appearance?
बहुत से लोग ये सवाल करते हैं — “क्या हस्तमैथुन से चेहरे की चमक या शारीरिक बनावट पर असर पड़ता है?” वैज्ञानिक शोधों के अनुसार, सामान्य मात्रा में हस्तमैथुन से किसी व्यक्ति की physical appearance पर कोई स्थायी नुकसान नहीं होता। लेकिन अगर ये activity excessive यानी बहुत बार की जाए, तो शरीर में थकान, आलस और चेहरे पर dullness दिख सकती है।
ये असर सीधे तौर पर हार्मोनल बदलावों, नींद की कमी और energy loss से जुड़ा होता है। इसलिए डॉक्टर सलाह देते हैं कि शरीर की प्राकृतिक ऊर्जा को बचाने के लिए हस्तमैथुन को संतुलित तरीके से करें।
हस्तमैथुन के बारे में भगवान क्या कहते हैं? (What Does God Say About Masturbation?)
धार्मिक दृष्टिकोण से देखें तो अलग-अलग धर्मों की अलग व्याख्या है। हिंदू धर्म में ब्रह्मचर्य को जीवन का आदर्श माना गया है। ये कहा गया है कि वीर्य (semen) शरीर की सबसे मूल्यवान ऊर्जा है, जिसे व्यर्थ नहीं करना चाहिए। भगवद् गीता और उपनिषदों में आत्म-संयम (self-control) को आत्मबल और ध्यान का स्रोत बताया गया है।
ईसाई धर्म (Christianity) में भी हस्तमैथुन को अक्सर “sin of lust” कहा गया है, लेकिन आधुनिक धर्मशास्त्री इसे “human weakness” मानते हैं जिसे प्रेम, प्रार्थना और आत्म-नियंत्रण से ठीक किया जा सकता है।
इस्लाम में भी हस्तमैथुन को मकरूह यानी नापसंद क्रिया माना गया है, और कहा गया है कि ये केवल अत्यधिक परिस्थितियों में ही स्वीकार्य है। सभी धर्म एक ही बात पर ज़ोर देते हैं — आत्म-संयम, शुद्ध विचार और शरीर पर नियंत्रण रखना आत्मिक शांति की ओर ले जाता है।
हस्तमैथुन के बाद क्या करें? (What Should I Do After Masturbation?)
अगर कोई व्यक्ति हस्तमैथुन करता है तो उसके बाद शरीर और मन को संतुलित करने के कुछ सरल तरीके हैं:
- Hydrate करें — पानी पिएं ताकि शरीर में fluid balance बना रहे।
- Cleanliness — शरीर को साफ रखें, क्योंकि hygiene बहुत ज़रूरी है।
- Positive Thinking — guilt या shame की भावना से दूर रहें, क्योंकि ये एक प्राकृतिक प्रक्रिया है।
- Exercise और Meditation — शारीरिक और मानसिक संतुलन बनाए रखने के लिए योग और ध्यान करें।
- Healthy Diet — protein-rich और vitamin food लें ताकि शरीर की ऊर्जा बनी रहे।
इन आदतों को अपनाकर व्यक्ति अपने शरीर को फिर से स्वस्थ और सक्रिय बना सकता है।
हस्तमैथुन के फायदे (Benefits of Masturbation)
वैज्ञानिक दृष्टि से देखें तो हस्तमैथुन के कुछ सीमित फायदे भी हैं, जैसे:
- तनाव और anxiety में राहत मिलना
- नींद बेहतर होना
- mood में सुधार
- sexual awareness बढ़ना
- और शारीरिक तनाव कम होना
कुछ शोध बताते हैं कि ये पुरुषों में prostate cancer के खतरे को थोड़ा कम कर सकता है, क्योंकि इससे शुक्राणु नियमित रूप से बाहर निकलते रहते हैं।
महिलाओं के लिए भी ये pelvic muscles को मजबूत करने और sexual wellness में मदद करता है।
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लेकिन, ये याद रखना ज़रूरी है कि हस्तमैथुन को एक addiction नहीं बनने देना चाहिए। जब ये आदत शरीर और मन को नियंत्रित करने लगे, तब यह फायदेमंद नहीं बल्कि हानिकारक हो जाता है।
ज्यादा हस्तमैथुन से कैसे बचें?
अगर कोई व्यक्ति महसूस करता है कि वह इस आदत को नियंत्रित नहीं कर पा रहा है, तो उसे कुछ बदलाव करने चाहिए।
- अपने समय को productive कामों में लगाएँ।
- सोशल मीडिया पर अश्लील content से दूर रहें।
- Meditation और योग करें।
- अगर ज़रूरत महसूस हो तो किसी counsellor या sexologist से सलाह लें।
याद रखें — शरीर की ऊर्जा केवल sexual pleasure के लिए नहीं, बल्कि creativity, health और spiritual growth के लिए भी होती है।
हस्तमैथुन कोई पाप या अपराध नहीं है, बल्कि शरीर की एक प्राकृतिक जैविक प्रक्रिया है। लेकिन जब ये आदत सीमा से बाहर चली जाती है, तब यह शरीर, मन और आत्मा — तीनों पर असर डालती है। इसलिए इसका सही ज्ञान और आत्म-संयम बहुत आवश्यक है।
डॉक्टरों और धर्म दोनों की यही सलाह है — moderation यानी संतुलन ही जीवन का असली रहस्य है। अपने शरीर को समझें, उसका सम्मान करें और अपनी ऊर्जा को सही दिशा में लगाएँ। इसी में आपका स्वास्थ्य, शांति और सफलता दोनों निहित हैं।